Description
10 Mukhi Rudraksha को भगवान विष्णु का प्रतीक माना जाता है। यह रुद्राक्ष विशेष रूप से सभी प्रकार की नकारात्मकता से मुक्ति, धन, सुख और समृद्धि लाने, और मानसिक शांति प्राप्त करने में सहायक है। यह रुद्राक्ष विशेष रूप से किसी भी प्रकार के भय, संकट और विकारों से मुक्ति पाने के लिए उपयुक्त है।
10 मुखी रुद्राक्ष का महत्व:
- भगवान विष्णु का आशीर्वाद: यह रुद्राक्ष भगवान विष्णु के आशीर्वाद को प्राप्त करने का एक उत्तम साधन है, जो जीवन के सभी संकटों को समाप्त करते हैं।
- नकारात्मकता का नाश: यह रुद्राक्ष व्यक्ति के जीवन से नकारात्मक ऊर्जा को समाप्त करता है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।
- सभी प्रकार के भय से मुक्ति: यह रुद्राक्ष किसी भी प्रकार के भय, तनाव और मानसिक समस्याओं से छुटकारा दिलाने में सहायक है।
- धन और समृद्धि: यह रुद्राक्ष घर और जीवन में धन, सुख और समृद्धि लाता है।
10 मुखी रुद्राक्ष की पूजा विधि:
- स्वच्छ स्थान पर पूजा करें: सबसे पहले एक स्वच्छ और शांत स्थान पर आसन बिछाएं और वहां 10 Mukhi Rudraksha रखें।
- रुद्राक्ष की शुद्धि: रुद्राक्ष को शुद्ध करने के लिए गंगाजल या शुद्ध जल से धोकर साफ करें। इससे रुद्राक्ष की नकारात्मक ऊर्जा समाप्त हो जाती है।
- दीपक और अगरबत्ती जलाएं: पूजा स्थल पर दीपक और अगरबत्ती (धूप) जलाएं। यह वातावरण को शुद्ध करता है और सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।
- रुद्राक्ष पर ताजे फूल अर्पित करें: रुद्राक्ष पर ताजे फूल अर्पित करें, जो भगवान विष्णु और शिव के प्रति श्रद्धा का प्रतीक है।
- मंत्र जाप करें: 10 मुखी रुद्राक्ष की पूजा करते समय निम्नलिखित मंत्रों का जाप करें:
- “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय” – यह मंत्र भगवान विष्णु की पूजा के लिए है।
- “ॐ नमः शिवाय” – यह मंत्र भगवान शिव की कृपा प्राप्त करने के लिए है।
इन मंत्रों का जाप 108 बार करें। माला का उपयोग करें तो एक-एक मंत्र का जाप करें।
- चावल और लौंग अर्पित करें: रुद्राक्ष के सामने चावल, लौंग और ताजे फूल अर्पित करें। यह पूजा का हिस्सा है और भोग अर्पित करने का तरीका है।
- फल और मिठाई अर्पित करें: पूजा के बाद रुद्राक्ष के सामने ताजे फल और मिठाई अर्पित करें। यह पूजा का समापन करता है।
- आरती और शांति पाठ: पूजा के बाद भगवान विष्णु और शिव की आरती का पाठ करें। आप “ॐ जय शिव ओंकारा” और भगवान विष्णु की आरती “श्री विष्णु सहस्त्रनाम” का पाठ कर सकते हैं। अंत में “ॐ शांति शांति शांति” का जाप करें।
- रुद्राक्ष को धारण करें: पूजा समाप्त होने के बाद रुद्राक्ष को शुद्ध करके पहन सकते हैं। इसे अंगूठी या डोरी में गले में पहन सकते हैं।
- प्रसाद वितरण: पूजा का प्रसाद अपने परिवार और मित्रों में वितरित करें।
विशेष ध्यान देने योग्य बातें:
- रुद्राक्ष को हमेशा साफ और पवित्र रखें। स्नान और भोजन के समय इसे हटा लें।
- पूजा के समय मानसिक शांति बनाए रखें और श्रद्धा से पूजा करें।
- रुद्राक्ष को नियमित रूप से शुद्ध करें और पूजा विधि का पालन करें।
10 मुखी रुद्राक्ष के लाभ:
- नकारात्मकता से मुक्ति: यह रुद्राक्ष जीवन में आने वाली नकारात्मकता को समाप्त करता है और सकारात्मकता का संचार करता है।
- सभी प्रकार के भय से मुक्ति: यह व्यक्ति को किसी भी प्रकार के डर और मानसिक समस्याओं से मुक्ति दिलाता है।
- धन, सुख और समृद्धि: यह रुद्राक्ष जीवन में धन, सुख और समृद्धि लाने में सहायक है।
- मानसिक शांति: यह रुद्राक्ष मानसिक शांति और संतुलन बनाए रखने में मदद करता है।
- सकारात्मक ऊर्जा का संचार: यह रुद्राक्ष घर और जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।
इस प्रकार, 10 Mukhi Rudraksha की पूजा विधि से आप जीवन में शांति, समृद्धि, और सफलता प्राप्त कर सकते हैं।
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